धोखा या प्यार -पूनम की अधूरी इच्छाओं को पूरा करने की कोशिश।-भाग 4
यह एक मनमोहक दोपहर थी। सूरज की हल्की किरणें पूनम के चेहरे पर पड़ रही थीं, जैसे उसकी भावनाओं को छू रही हों। वह धीमे कदमों से रोनी के घर की ओर बढ़ रही थी। उसके मन में कई भावनाएँ उमड़ रही थीं—कुछ अधूरी इच्छाएँ, कुछ अनकहे सपने। बहुत कुछ था जो वह रोनी के साथ साझा करना चाहती थी, जो वह वर्षों से महसूस करती आ रही थी। वे बातें, जो उसने अपने पति से कभी चाहीं, लेकिन कभी पाई नहीं।
उसने दरवाज़े पर दस्तक दी। दिल की धड़कनें तेज़ थीं, जैसे हर धड़कन एक सवाल पूछ रही हो। दरवाज़ा खुलने का इंतज़ार करते हुए उसकी साँसें थमी हुई थीं।
दरवाज़ा खुला। रोनी सामने था। उसकी आँखों में चमक थी, जैसे कोई सपना साकार हो गया हो। पूनम को देखकर वह ठहर गया—गहरे गुलाबी रंग की पोशाक में वह सचमुच किसी परी की तरह लग रही थी। उसकी आँखों में स्नेह था, और बाँहों में इंतज़ार।
वह आगे बढ़ा और पूनम को कसकर गले लगा लिया। उस आलिंगन में कोई शब्द नहीं थे, लेकिन भावनाएँ सब कुछ कह रही थीं। उसका स्पर्श, उसकी आँखें, उसकी साँसें—सब बता रही थीं कि वह उसे याद करता रहा है, और इस पल का बेसब्री से इंतज़ार कर रहा था।
वह आगे बढ़ा और पूनम को कसकर गले लगा लिया। उस आलिंगन में कोई शब्द नहीं थे, लेकिन भावनाएँ सब कुछ कह रही थीं। उसका स्पर्श, उसकी आँखें, उसकी साँसें—सब बता रही थीं कि वह उसे याद करता रहा है, और इस पल का बेसब्री से इंतज़ार कर रहा था।
वे अंदर आ गए। दोनों सीधे बेडरूम में चले गए। दोनों एक ही चीज़ का इंतज़ार कर रहे थे। “कृपया यहाँ बैठो और मुझे बताओ कि मैं आपके लिए क्या कर सकता हूँ।” रोनी ने विनम्रता से कहा।
“रोनी प्रिय आज आपको मेरे लिए बहुत कुछ करना है।” पूनम मुस्कुराई और थोड़ा पानी पिया।
“वह बिस्तर पर लेट गई और बोली, रोनी मुझे जहाँ चाहो आज़ादी से छू लो, मैं तुम्हारी हूँ।” रोनी उसके पास बैठ गया और उसकी सलवार के ऊपर से उसकी चूत पर हाथ रख दिया।
“मैं यहीं से शुरुआत करने की सोच रही हूँ।
”पूनम मुस्कुराई और बोली.. तो फिर तुम किस बात का इंतजार कर रहे हो।” रोनी ने पहले खुद को नंगा किया। फिर बिस्तर पर गया और पूनम को चूमा। उसने अपना हाथ स्तनों पर फिर योनि पर घुमाया। उसकी सलवार तंग थी। बह धीरे-धीरे उसका नाड़ा खोलना लगा। पूनम चुपचाप लेटी हुई थी। वह उसके स्पर्श का आनंद ले रही थी। उसे लिंग प्रवेश की कोई जल्दी नहीं थी।
उसने उसकी सलवार और अंडरवियर उतार दिया। चूत की त्वचा चमक रही थी। शायद पूनम ने आने से पहले उसे शेव किया था।
“यह बहुत सुंदर लग रही है। मैडम जी, यह मेरा पहली बार है जब मैं किसी लड़की की चूत को छू रहा हूँ।” रोनी ने मुस्कुराते हुए कहा। पूनम ने भी मुस्कुराते हुए कहा। “तो फिर इसका आनंद लें।”
“मैं जल्दी से लिंग डालना चाहता हूँ मैडम जी।”रोनी ने उत्सुकता से कहा l
“प्रिय ,यदि आप लड़की को खुश करना चाहते हैं तो आपको लिंग के लिए योनि तैयार करनी चाहिए।”
“तो फिर मुझे क्या करना होगा , मैडम जी ”
“तुम मेरी ब्रा और टॉप उतारना भूल गए।” पूनम मुस्कुराई। वह जानती है कि रोनी को कोई अनुभव नहीं है, वह बहुत जल्दी उत्तेजित हो जाता है। जब उसने चूत को देख तो सब कुछ भूल गया।
“रोनी, मुझे पता है कि आज तुम मेरी चूत का आनंद लेना चाहते हो। मैं भी तुम्हारा लिंग अपनी चूत की गहराई में चाहती हूँ। आओ और मेरी चूत तैयार करो। यह तुम्हारा इंतज़ार कर रही है।”
रोनी ने अपना हाथ उसकी योनि पर रख दिया। पूनम ने उसकी उंगली अपने भगशेफ पर रख दी। “इसे धीरे से स्पर्श करो और महसूस करो। यह वह जगह है जो लड़की के अंदर सेक्स के लिए आग जलाती है।”
रोनी के लिए सब कुछ नया था। उसने पहले कभी किसी लड़की की योनि को नहीं छुआ था। वह धीरे-धीरे भगशेफ की मालिश करने लगा । पूनम की मीठी चीखें बता रही थीं कि उसे छूने में कितना मजा आ रहा था।
“रोनी मेरे पैरों में आओ और मेरी भगनासा को चाटो, मैं तुम्हारी गर्म जीभ को महसूस करना चाहती हूँ।”
रोनी ने वही किया जो मैडम चाहती थी। धीरे-धीरे कमरा पूनम की चीखों से भरने लगा। चाटने से उसकी चूत जलने लगी। साँसें तेज़ चलने लगीं। रोनी धीरे-धीरे उसकी चूत चाट रहा था। शायद उसे भी चूत छूने में उतना ही मज़ा आ रहा था। पूनम को याद नहीं था कि आखिरी बार कब उसकी चूत इस तरह गीली हुई थी और वो इस तरह चिल्लाई थी।
“रोनी मेरे ऊपर आओ और अब अपना लिंग मेरी योनि में डाल दो। मैं अब और इंतजार नहीं कर सकती।” रोनी ऊपर आया और उसने निप्पल , फिर होंठों को चूमा। लिंग डालने से पहले पूनम यही चाहती थी। धीरे धीरे लिंग चूत के अंदर जाने लगा। कमरा आनंद और तेज़ साँसों की आवाज़ों से भरने लगा, उनके गर्म शरीर लंबे समय तक संभोग को रोक नहीं सके।
रोनी ने तेजी से धक्का देना शुरू कर दिया। पूनम ने भी अधिक समय नहीं लिया। चूत और लिंग एक ही समय में फट गए। रोनी ने अपना वीर्य चूत में गहराई तक डाल दिया जैसा मैडम चाहती थीं। जब उनका गर्म शरीर एक लंबे चुंबन के साथ विदा हुआ। उनकी आंखें आनंद से भरी थीं। उनके चेहरे पर अजीब सी चमक थी, दोनों संतुष्ट दिख रहे थे और उन्हें वह मिल गया जो वे चाहते थे।
उस दिन के बाद पूनम का जीवन फिर से खुशियों से भरने लगा। उसने इस बात की परवाह करना छोड़ दिया कि उसका पति उसके साथ क्या कर रहा था । रोनी ने उसके और उसके पति के बीच की खाई को भरना शुरू कर दिया।